Yearly Archives: 2021
Vyang | इस भीड़ की सच्चाई ( व्यंग्य )
इस भीड़ की सच्चाई ( व्यंग्य )
( Is bheed ki sachai : Vyang )
ये कोरोना फैला नहीं रहे हैं
भगा रहे हैं,
देश को गंभीर बीमारी...
Kavita Raat Kaali | रात काली रही
रात काली रही
( Raat Kaali Rahi )
रात काली रही दिन उजाला भरा,
बीतीं बातों पे चिन्तन से क्या फायदा।
वक्त कैसा भी था, दुख से या...
Kavita Papi pet ke khatir | पापी पेट की खातिर
पापी पेट की खातिर
( Papi pet ke khatir )
वो चिड़िया
रोज सवेरे है आती
करने चीं चीं चीं चीं
मधुर स्वर लहरियां उसकी
मेरे मीठे स्वप्न पर,भारी है...
Muktak | मुक्तक
मुक्तक
( Muktak )
निर्भय रहकर जो जीवन जीता है
धीरज धरकर जो गमों के घूंट पीता है
कर्म प्रधान है इस चराचर जगत में
आत्मा अजर अमर कहती...
May Danava | मय दानव (महाभारत)
मय दानव ( महाभारत )
( May Danava )
खाण्डव वन में मय दानव ने, इन्द्रप्रस्थ रच डाला।
माया से उसने धरती पर,कुछ ऐसा महल बनाया।
अद्भुत उसकी...
Berojgari par nibandh | बेरोजगारी और युवाओं में आक्रोश
निबंध : बेरोजगारी और युवाओं में आक्रोश
( Unemployment and youth outrage: Essay In Hindi )
बेरोजगारी आज हमारे देश के लिए एक अभिशाप बन गई...
Kavita | एक पेड़
एक पेड़
( Ek Ped )
कभी धूप कभी पानी मे ,देती हमें शीतल छाया ।
आजा आराम करले संगी ,चल रही मंद मंद हवा ।।
जब होती ...
Agnisuta par Kavita | अग्निसुता
अग्निसुता
( Agnisuta )
द्रौपदी ने खोले थे केशु, जटा अब ना बांधूंगी।
जटा पर दुःशासन का रक्त, भीगों लू तब बाधूंगी।
मेरे प्रतिशोध की ज्वाला से,जल करके...
Kavita | वह बचपन की याद पुरानी
वह बचपन की याद पुरानी
( Woh bachpan ki yaad purani )दही बिलोती दादी नानी
नहीं रही वह कथा कहानी
कहां गई पीपल की छांव
वो बचपन की...
Vyang | नेहरू जी बताएंगे ! ( व्यंग्य )
नेहरू जी बताएंगे ! ( व्यंग्य )
( Nehru Ji Batayenge )
वादे के मुताबिक ही हम काम कर रहे हैं,
क्यों बेकार में फरियाद कर रहे...