भविष्य से एक पत्र

बसंती दीपशिखा जब अपनी लेखनी में खोई हुई थीं, तभी दरवाज़े पर एक हल्की सी दस्तक हुई। उन्होंने दरवाजा खोला तो सामने कोई नहीं था। लेकिन नीचे ज़मीन पर एक सुनहरे रंग का लिफाफा रखा था, जिस पर लिखा था—“भविष्य से एक पत्र” उन्होंने कौतूहल से लिफाफा खोला और पत्र पढ़ने लगीं— प्रिय बसंती “दीपशिखा”, … Continue reading भविष्य से एक पत्र