बांसुरी बजाने बाला बांसुरी बजाने बाला कन्हाई नहीं होता।मजबूरी में लिया फैसला बेवफाई नही होता। बाज़ू न होने का दर्द उससे पूछो।जिसका कोई भाई नहीं होता। मां को ठुकराओगे इस कदर तो।दुःख में आंचल सहाई नहीं होता। उसकी सूरत ओ लिबास मत देखो।सच कहने वाला सौदाई नहीं होता। रह कर दिल में न मिलने का … Continue reading बांसुरी बजाने बाला
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