हम न झेल पाएंगे | Hum na Jhel Payenge

हम न झेल पाएंगे ( Hum na Jhel Payenge ) हर एक रंग ज़माने के आजमाएंगे I कही सुनी की धनक हम न झेल पाएंगे II हज़ार बात हज़ारों जुबान से होगी I कहाँ हरेक जुबाँ से वफ़ा निभाएंगे II सुरूर इश्क उन्हें झूठ से हुई जब से I यकीं न होगा अगर दर्द हम … Continue reading हम न झेल पाएंगे | Hum na Jhel Payenge