ओघड़दानी भोलेबाबा | Oghadani Bholebaba

ओघड़दानी भोलेबाबा ( Oghadani Bholebaba )   नीलकंठ महादेव सदाशिव कालो के महाकाल। भस्म रमाए डमरू वाले शीश सोहे चंद्र भाल। रूद्र रूप धरे प्रलयंकारी शशिशेखर नटराज। जटा से बहती गंगधारा गले वासुकी नागराज। बाघाम्बर धारी शंभू त्रिनेत्र शिव भोले अविनाशी। शिवशंकर महादेव हमारे ध्यान मग्न बैठे कैलाशी। मेरे शिव भोले भंडारी सबका करते कल्याण। … Continue reading ओघड़दानी भोलेबाबा | Oghadani Bholebaba