मै फक्र से कहती हूं | Phakar se
मै फक्र से कहती हूं ( Mai phakar se kahti hoon ) मेरे पास भी दोस्त है, अंधेरी रातो मे खड़ा मेरा प्यार है, मुझे रोशनी देता वह चाँद है ।। हाँ मै चाँदनी नहीं, मैं तो फूल हू जिसे पाने उसने काटो से रिश्ता जोड़ा है । मेरे पास दोस्तों की महफिल नही … Continue reading मै फक्र से कहती हूं | Phakar se
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