आशिक़ी | Poem on Aashiqui

आशिक़ी ( Aashiqui )    चढ़ा है सोलहवें बरस का ये पानी, रहना सजग तू दुुनिया दीवानी। उतरकर सितारे करेंगे वो बातें, मोहब्बत के लहजे में गुजरेंगी रातें। नहीं मुझको अपनी इज्जत गंवानी, रहना सजग तू दुुनिया दीवानी, चढ़ा है सोलहवें बरस का ये पानी, रहना सजग तू दुुनिया दीवानी। उभरती है देखो जब भी … Continue reading आशिक़ी | Poem on Aashiqui