घर आबाद रखना | Ghar Aabaad Rakhna

घर आबाद रखना मुसलसल दिल को अपने शाद रखनामेरी यादों से घर आबाद रखना गुज़ारी है ग़मों में यूँ भी हँसकरमुझे है प्यार की मरजाद रखना मिलेंगे हम ख़ुशी से फिर यहीं परलबों पर बस यही फ़रियाद रखना वफ़ा के फूल ख़ुद खिलते रहेंगेसदा देते इन्हें तुम खाद रखना बहारें दे रहीं हैं दस्तकें फिरसनम … Continue reading घर आबाद रखना | Ghar Aabaad Rakhna