जहां न पहुंचे रवि वहां पहुंचे कवि | Kavi ke vishay par kavita
जहां न पहुंचे रवि वहां पहुंचे कवि ( Jahan na pahunche ravi vahan pahunche kavi ) जहां नही पहुंच पाये रवि, पहुंच जाते वहां पर कवि। दिख जाती है उनकी छवि, जो होता लेखक एवं कवि।। सोच-समझकर लेता काम, लिख देता वह मन के भाव। मन की बात दर्शाता है कवि, कविता से … Continue reading जहां न पहुंचे रवि वहां पहुंचे कवि | Kavi ke vishay par kavita
Copy and paste this URL into your WordPress site to embed
Copy and paste this code into your site to embed