ख्वाहिशों का रंग घोल दे | Khwahish par Kavita

ख्वाहिशों का रंग घोल दे ( Khwahishon ka rang ghol de )    लक्ष्य साधकर बढ़ते जाए मन की गांठे खोल दे। लगन संग कोशिशों में ख्वाहिशों का रंग घोल दे। उन्मुक्त उड़ानें नभ छूए तमन्नाओं को मुस्कान दे। हौसलों से मंजिलों की दुर्गम राहों पे भी ध्यान दे। हंसी-खुशी प्रेम सलोना बांटे प्यार के … Continue reading ख्वाहिशों का रंग घोल दे | Khwahish par Kavita