मां ( Maa ) मां सहेली भी है, मां पहेली भी है, इस जहां में वो, बिल्कुल अकेली भी है। दुःख में हंसती भी है, सुख में पिसती भी है, नेह की प्यास में , ममता रिसती भी है, मां सुहानी भी है, मां कहानी भी है, मन को शीतल करे, मीठी वाणी भी … Continue reading मां | Maa Par Kavita
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