प्रेयसी सी लगती मधुशाला दुःख कष्ट पीड़ा संग, परम मैत्री अनुभूति । असफलता बिंदु पर , नवल प्रेरणा ज्योति । सघन तिमिर हरण कर , फैलाती अंतर उजाला । प्रेयसी सी लगती मधुशाला ।। तन मन पट नव चेतना, उत्साह उमंग अपार । अपनत्व सा मृदुल स्पर्श , अंतर्द्वन्द अवसानित धार । अदम्य हौसली … Continue reading प्रेयसी सी लगती मधुशाला
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