सावन

सावन | Sawan

सावन ( Sawan ) सावन आया सावन आया साजन मेरे सावन आया सावन आया साजन मेरे पर क्यूँ तू ना अब तक आया.. .सावन आया . झरमर झरमर बरस रहे हैं चढ़ी है मस्ती बादलों को कली कली का रूप का है निखरा झूम रहा है देखो भंवरा फूल बाग़ में मचल रहे है रंग…

सावन

सावन | Swan kavita

सावन  ( Sawan )   –> आया सावन झूमते, धरती को यूं चूमते || 1.फूल खिल रहे बगियन में, रंग बिरंगे तरह-तरह | बादलों में बिजली चमके, रिम-झिम बरसे जगह-जगह | कहीं मूसलाधार हो बारिश, टिम-टिम बरसे कहीं-कहीं | कोई कहता रुक जा मालिक, कहता कोई नहीं-नहीं | –>आया सावन झूमते, धरती को यूं चूमते…