Sad Ghazal | Amazing Urdu Poetry -ए दोस्त प्यार में खाया फ़रेब है
ए दोस्त प्यार में खाया फ़रेब है ( E Dost Pyar Mein Khaaya Fareb Hai ) ए दोस्त प्यार में खाया फ़रेब है हां दें गया है ग़म उसका फ़रेब है मैं सच कहूं दिल किसी से मत लगाओ की अक्सर प्यार में मिलता फ़रेब है की क्या देगा वफ़ा का फ़ूल…