Emotional ghazal

हर बुराई को न यूं अंजाम दो | Emotional ghazal

हर बुराई को न यूं अंजाम दो ( Har burai ko na yoon anjaam do )   हर बुराई को न यूं अंजाम दो देश में अच्छाई का पैग़ाम दो   दो गवाही सच के हक़ में ए हबीब यूं नहीं झूठा मुझपे इल्जाम दो   दी वफ़ाये हर घड़ी मैंनें तुम्हे यूं नहीं तुम…

प्यार का दिल में अपने ही आशिकाना कीजिए

प्यार का दिल में अपने ही आशिकाना कीजिए | Ghazal

प्यार का दिल में अपने ही आशिकाना कीजिए ( Pyar ka dil mein apne hi aashiqana kijiye )   प्यार का दिल में अपनें ही आशिकाना कीजिए छोड़  नफ़रत  को  शुरु  ये मुस्कुराना कीजिए   छोड़ दो दिल से ख़फ़ा होना मगर अब तो ज़रा देखिए  भी  घर  शुरु  मेरे  ही  आना  कीजिए   नफ़रतों…