शेर की कविताएं | Kavitayen Sher Ki
शेर की कविताएं ( Sher ki kavitayen ) हाँ दबे पाँव आयी वो दिल में मेरे, दिल पें दस्तक लगा के चली थी गयी। खोल के दिल की कुण्डी मैं सोचूँ यही, मस्त खूँशबू ये आके कहा खो गयी॥ हाँ दबे पाँव…. * सोच मौका दोबारा मिले ना मिले, ढूँढने मै लगा जिस्म सें…