Kisan par kavita
Kisan par kavita

दूबर बाटे सबसे किसान देशवा में

 

रानी भरल खलिहान ई चइतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।

लूहिया-लुहान से ई नाचाला कपरवा,
हमरे पसीनवाँ से लूटै ऊ लहरवा।
दूबर बाटे सबसे किसान देशवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।
रानी भरल खलिहान ई चइतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।

ठारी पड़े, हाड़ काँपे, होलै तब किसनियाँ,
बदरा के बीचवा से गिरैलै बिजुरिया।
खइहैं हेली-मेली आज सुना सथवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।
रानी भरल खलिहान ई चइतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।

बैंगन, टमाटर, हरी-धनिया, मिर्ची डलिहा,
सतुआ कै पिट्ठी एक औसत से भरिहा।
देशी घिउवा मिलाया वही अटवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।
रानी भरल खलिहान ई चइतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।

दुधवा औ पुतवा से भरल किसनवाँ,
सीमवाँ पे लड़े जानै यहीं से जवनवाँ।
भले जिनगी बीतलै वही रेतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।
रानी भरल खलिहान ई चइतवा में,
लिट्टी-चोखवा लगाउतू यही खेतवा में।

Ramakesh

रामकेश एम यादव (कवि, साहित्यकार)
( मुंबई )

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