यूँ तो | Yun to kavita
यूँ तो ( Yun to : Hindi poem ) यूं तो अकेले जीने का हौसला रखती हूं, फिर कभी किसी का साथ क्यों चाहती हूं । यूं तो मंजिल अकेले ही तय करनी है मुझे, फिर क्यों साथ सब के होना चाहती हूं । यूं तो अकेली कर ली हूँ खुद को…
यूँ तो ( Yun to : Hindi poem ) यूं तो अकेले जीने का हौसला रखती हूं, फिर कभी किसी का साथ क्यों चाहती हूं । यूं तो मंजिल अकेले ही तय करनी है मुझे, फिर क्यों साथ सब के होना चाहती हूं । यूं तो अकेली कर ली हूँ खुद को…
कई कई अर्थ लिए कुछ लफ़्ज़ों में भावनाओं की अभिव्यक्ति 1. जुबाँ है पर आवाज नहीं, और खामोशी में भी बातें हैं ! जुबाँ हो के भी गूंगी हो गई, खामोश हो सब कुछ कर गई !! 2. यूँ तो जिंदगी है …