कलह ( हाइकु )

कलह ( हाइकु )

कलह ( हाइकु ) *** १) कलह करे घर संकट भरे- बेमौत मरे । २) कलह कांटा जिस आंगन उगे- नाश ही करे। ३) कलह विष नहीं हों आवेशित- घर दूषित। ४) कलह बुरा परिवार बिखरे- नहीं निखरे। ५) सुलह हल कलह है गरल- संकट प्राण। ६) कलह बांटे छिन्न भिन्न संबंधी- विकास रूके। ७)…

सुनहरे पल ( हाइकु )

सुनहरे पल

सुनहरे पल ( हाइकु ) 1 आऐ है सुनहरे पल  जीवन से ढ़ल गये ग़म  बरसा ख़ुशी का जल   2 दें आया फूल उसे कल प्यार में उसके मेरा दिल हुआ चंचल 3 हो गयी दिल में हलचल प्यार की मेरे देखा ऐसा चेहरा कल   4 किसी को पाने को लिए रात दिन…

आज़म नैय्यर हाइकु

आज़म नैय्यर हाइकु

आज़म नैय्यर हाइकु 1 जीवन में ख़ुश रहो दूर ग़म को करो प्यार से हंसो 2   नफ़रत नहीं प्यार करो सबसें हमेशा आओ गले लगो 3 दो भुला बेवफ़ा को यूं आहें मत भरो यूं ग़म में मत जलो 4 बात मेरी जरा सुनो यूं न फेरकर मुंह चलो दोस्ती में वफ़ा करो 5…