चंद लम्हों से जिंदगी चुरा लाए हैं। Poem Chand lamhon
चंद लम्हों से जिंदगी चुरा लाए हैं
( Chand lamhon se zindagi chura laye hain )
हम बहारों से खुशबू जरा लाए हैं।
चंद लम्हों से जिंदगी चुरा लाए हैं।
गीत लफ्जों से प्यारे सजा आए हैं।
जुड़े तार दिलों के नजारे मुस्काये हैं।
आंधी तूफान से कश्ती उतार लाए हैं।
चंद सांसे ले हम भी उधार आए हैं।
मोती प्यार के बांटे दिलदार आए हैं।
मुस्कुराहटें हंसी वो जलधार लाए हैं।
बहती प्रेम सरिता हम प्यार लाए हैं।
रसधार भरी प्रीत गले का हार लाए हैं।
रचनाकार : रमाकांत सोनी सुदर्शन
नवलगढ़ जिला झुंझुनू
( राजस्थान )
यह भी पढ़ें :-