आइए आ जाइए | नग़मा
आइए आ जाइए
( Aaiye aa jaiye )
सीधा – साधा रास्ता है आइए आ जाइए।
दिल का दरवाज़ा खुला है आइए आ जाइए।
आप ही के नाम की तख़्ती लगी है बाख़ुदा।
आप की आहट पे ही घंटी बजी है बाख़ुदा।
आप ही के वास्ते मह़फ़िल सजी है बाख़ुदा।
रुख़ पे क्यों शर्म-ओ-ह़या है आइए आ जाइए।
दिल का दरवाज़ा खुला है आइए आ जाइए।
आपसे ही अब कली दिल की खिलेगी बाख़ुदा।
आप के जलवों से ही राह़त मिलेगी बाख़ुदा।
आपकी आमद ही सबके लब सिलेगी बाख़ुदा।
धड़कनों की भी स़दा है आइए आ जाइए।
दिल का दरवाज़ा खुला है आइए आ जाइए।
ये बहारें , ये फ़ज़ाएं , ये हवाएं बाख़ुदा।
रक़्स़ करती आसमां की ये घटाएं बाख़ुदा।
आरज़ू-ए-दिल ही क्या मेरी वफ़ाएं बाख़ुदा।
आप पर सब कुछ फ़िदा है आइए आ जाइए।
दिल का दरवाज़ा खुला है आइए आ जाइए।
सीधा – साधा रास्ता है आइए आ जाइए।
दिल का दरवाज़ा खुला है आइए आ जाइए।
सरफ़राज़ हुसैन फ़राज़
पीपलसानवी