ऐतबार रखना तू | Aitbaar Shayari
ऐतबार रखना तू
( Aitbaar rakhna tu )
ज़रा दिल मेरी तरह बेक़रार रखना तू ?
वफ़ा मुहब्बत में ही इंतिज़ार रखना तू
कभी शक करना नहीं वफ़ा मुहब्बत पर
वफ़ाओ पर उम्रभर ऐतबार रखना तू
परायी करना नहीं तू मुझे दिल से अपने
बसाकर दिल में हमेशा यार रखना तू
बदल न जाना वफ़ा से मगर कभी अपनी
हमेशा मुझपे वफ़ा की बहार रखना तू
नहीं करनी कभी बेवफ़ा मुहब्बत को
मुहब्बत से दिल भरा ए यार रखना तू
लगेगा वरना बहुत ग़म यहाँ दिल को मेरे
गिले न शिकवे लबों पर हज़ार रखना तू
निगाहें करना नहीं तू ख़फ़ा गीता से ही
मुझे दिलबर उम्रभर बस प्यार रखना तू
गीता शर्मा
( हिमाचल प्रदेश )