नमो नमो मोदी हरे | Narendra Modi par kavita
नमो नमो मोदी हरे
( Namo Namo Modi Hare )
नमो नमो स्वर लहरी से, जनमानस झूम रहा।
राम मय हुआ राष्ट्र, जन जन भक्ति में घूम रहा।
दिल्ली दिल जनता का, अब मोदी दरबार बना।
अखिल भारती भूमंडल में, सब खुशियां रहे मना।
सिंहासन पे शेर देश का, लाल किले से गूंज रहा।
गूंज रही है दसों दिशाएं, अरि आसन डोल रहा।
सीमा पर ना शीश कटेंगे, भ्रष्टाचार खत्म होंगे।
भारत को जो आंख दिखाएं, मंसूबे दमन होंगे।
देश पर मिटने वालों का, जीवन व्यर्थ नहीं जाता।
सरजमीं सेवा करता जो, दुनिया में आदर पाता।
अमन चैन की बातें भी, शाश्वत स्वरूप ले पाएगी।
विकास रथ की धूरी भी, अपनी रफ्तार दिखाएगी।
संसद के गलियारों को, संस्कारों से सजाना है।
लोकतंत्र के गौरव को, जग में फिर से लाना है।
उम्मीदों पर खरा उतरना, भारत भाग्य सम्मान है।
राष्ट्रहित शुभ कर्म मोदी जी, हमें भी अभिमान है।
जन विश्वास दीपशिखा से, दमक रहा राष्ट्र प्यारा।
कीर्ति पताका गगन छू रही, नभ चमक रहा तारा।
जज्बा देशभक्ति जगाया, आप मोदी सरकार।
कमान देश की संभाले रखना, हे राष्ट्र करतार।
कवि : रमाकांत सोनी सुदर्शन
नवलगढ़ जिला झुंझुनू
( राजस्थान )