मांग में सिंदूर भर दूँ मैं सनम
मांग में सिंदूर भर दूँ मैं सनम मांग में सिंदूर भर दूँ मैं सनम आ तुझे दुल्हन सी कर दूँ मैं सनम भूल जायेगी दर्द ग़म दिल के सभी प्यार से इतनी तर कर दूँ मैं सनम चुनकर सब कांटो भरे ग़म तेरे ही फूलों से दामन ये भर दूँ मैं…
मांग में सिंदूर भर दूँ मैं सनम मांग में सिंदूर भर दूँ मैं सनम आ तुझे दुल्हन सी कर दूँ मैं सनम भूल जायेगी दर्द ग़म दिल के सभी प्यार से इतनी तर कर दूँ मैं सनम चुनकर सब कांटो भरे ग़म तेरे ही फूलों से दामन ये भर दूँ मैं…
करोगे प्यार दुनिया में, सभी तुझको सताएंगे करोगे प्यार दुनिया में, सभी तुझको सताएंगे। वफ़ा के नाम पर धौखे, यहां तुझको खिलाएगे।। खुशी की चाह में अक्सर, ग़मों से सामना होगा। भरी कांटो की राहों में, कदम तुझको ले जाएगे।। रहोगे तुम सदा बनके, दिवानों की तरह जग में।। ग़मों के …
उसने किया नहीं रिश्ता क़बूल है उसने किया नहीं रिश्ता क़बूल है! ये जुल्म भी किया उसका क़बूल है पर कर गया धोखा वादे के नाम पे उसका किया था जो वादा क़बूल है उसको तो सिर्फ़ आता नफ़रत का लहज़ा कब प्यार का किया लहज़ा क़बूल है इंकार करना…
मेरी साँसों मे तेरी महक सी है मेरी साँसों मे तेरी महक सी है आँख खोलूं तो तेरी चमक सी है जब हाथ लग जाये कोई शाख पर लगता है इसमें भी तेरी लचक सी है गिर कर झड़ना जब जमीं पर टूट जाये इसको भी हो रही कोई कसक सी…
दिल अपना ग़रीब है ख़ुशी से दिल अपना ग़रीब है कब दिल अपना खुशनसीब है गिला क्या करुं ग़ैर से भला यहां तो अपना ही रकीब है किसे मैं हाले दिल सुनाऊँ अब नहीं कोई भी अपना हबीब है तन्हा हूँ नगर में बहुत यहां नहीं कोई मेरे करीब है…
एक तरफा प्यार है जिसके दिल में एक तरफा प्यार है अश्क आंखों में ही उसकी यार है जख़्म इतनें है मिले रूह तक कर गया वो जिंदगी को आजार है ख़्वाब टूटे है आंखों से ऐसे कल नींद से आंखें मेरी बेदार है प्यार की बातें न थी लब…
हाँ वो कितनी कली देखो हसीन है हाँ वो कितनी कली देखो हसीन है! अल्लाह की क़सम वो बहतरीन है अल्लाह दिल से उसको ही भुला दें तू उसकी तरफ़ मेरा हर पल ज़हीन है की प्यार से कैसे जोते भला यारों नफ़रत में बट गयी यारों ज़मीन है हमला…
आती रौनक बस तेरे आने से आती रौनक बस तेरे आने से। गुल खिल जाते तेरे मुस्काने से।। करते अटखेली गालों से गेसू । कलि खिलती ज्यूं भंवर के आने से।। छायी खुशबू सी गुलशन में सारे। सब महके हैं उनके महकाने से।। गहराई में थे जो दिल के अरमां।…
कान मेरे उसकी चूडियां खनक गयी कान मेरे उसकी चूडियां खनक गयी प्यार में उसके दिल की धड़कन बहक गयी आख़री थी निशानी उसकी पास में हाथ से वो भी तो अंगुठी छनक गयी आ रही है सदा जिंदगी में ग़म की सूली पे ही ख़ुशी अपनी सब लटक गयी …
प्यार के किस्से पुराने हो गए प्यार के किस्से पुराने हो गए। वक्त के हम भी निशाने हो गए ।। जिंदगी भर साथ रहना था हमें। दूर रहते अब ज़माने हो गए।। किस तरफ तक़दीर लेकर आ गई। लुट चुके से हम खजाने हो गए।। क्या सुनाएं जिंदगी की दास्तां।…