ढ़ल रहा है सूरज होने को शाम है

ढ़ल रहा है सूरज होने को शाम है

ढ़ल रहा है सूरज होने को शाम है     ढ़ल रहा है सूरज होने को शाम है और मछली पकड़े है मछयारा देखो   राह देखें है बच्चें भूखे बैठे है लेकर आयेगे खाना पिता खाने को   नाव में ही खड़ा है आदमी मुफ़लिसी वो ही मछली पकड़के गुजारा करता   बादलो में…

टी.आर.पी.के चक्कर में

टी.आर.पी. के चक्कर में

टी.आर.पी. के चक्कर में ****** आजकल चैनलों पर न्यूज की जगह डिबेट आ रह रहे हैं, बहुत लोग अब टी.वी देखने से घबरा रहे हैं। जनता के सरोकार वाली खबरों की जगह- नफरत और हिंसा बढ़ाने वाले टॉपिक डिबेट में छा रहे हैं, टी.वी वाले एंकर एक तरह से जनता को उकसा रहे हैं। चीख-चीख…

सिंदूर

सिंदूर

सिंदूर   वक्त की चकाचौंधी इतनी भी मंजूर न कर। तेरा सिंदूर हूं तूं सर मुझे दूर न कर।।   दीखता चुटकियों में हूं मगर विशाल हूं मै, हर एक रंग समेटे हुये पर लाल हूं मै।, तेरा श्रृंगार हूं तूं कांच जैसे चूर न कर।।तेरा सिंदूर ०   नीले गगन मे सूर्य की चमक…

तारक मेहता का उल्टा चश्मा

तारक मेहता का उल्टा चश्मा

तारक मेहता का उल्टा चश्मा °°°°°° –> ऐपिसोड हुए 3000 अभी, आगे भी होने बांकी हैं |?|   1.निश दिन नूतन संदेशा लाते, खुद हँसते और हंसाते हैं |   अलग-अलग है कल्चर फिर भी, संग-संग रोते-गाते हैं |   गोकुल धाम केे सब हीरे-मोती, एक धागे मे पिरोये हैं |   उदासी मे खुशियां…

है गुल से हम को उलफ़त तो ख़ार भी है प्यारा

है गुल से हम को उलफ़त तो ख़ार भी है प्यारा

है गुल से हम को उलफ़त तो ख़ार भी है प्यारा   है गुल से हम को उलफ़त तो ख़ार भी है प्यारा। गुलशन में खुश वही है जो समझ गया इशारा।।     पत्थर पे मैंहदी पिसती अग्नि में तपता सोना। दुःखों को सहन करके जीवन सभी निखारा।।     हम डूब जायें बेशक…

दोस्त करनी दुश्मनी अच्छी नहीं

दोस्त करनी दुश्मनी अच्छी नहीं

दोस्त करनी दुश्मनी अच्छी नहीं     दोस्त करनी दुश्मनी अच्छी नहीं! रिश्तों में यूं  बेरुख़ी अच्छी नहीं   जिंदगी की लुट जाये खुशियां अगर फ़िर ये कटती जिंदगी अच्छी नहीं   प्यार से मिलकर रहों हाँ उम्रभर यूं  करनी नाराज़गी अच्छी नहीं   चैन दिल का लुट ले जाती है सभी हाँ ये करनी…

हमने पढने पर कब रोक लगाई है

हमने पढने पर कब रोक लगाई है

हमने पढने पर कब रोक लगाई है     हमने पढने पर कब रोक लगाई है। कपड़े सही कर लो इसीलिए तो ड्रेस लगाई है।।   मैं नहीं कहता कि पश्चिम की कल्चर छोड़ दे। बस जरा खुले तन पर तू ओड ले।।   आपत्ति नहीं है हमें तेरे जींस पर ,बस तू उसको फुल…

महिलाएं

महिलाएं

महिलाएं *** स्वभाव से संजीदा हैं होती, यह नहीं किसी से है छिपी। पुनः एकबार प्रमाणित हुई है, येल यूनिवर्सिटी की शोध प्रकाशित हुई है। अमेरिकी! कोरोना संक्रमण से बचाव को कितने हैं संजीदा? देखा गया, महिलाओं और पुरुषों के व्यवहार पर अध्ययन किया गया; है कैसा उनका रहन-सहन? यह भी देखा गया। सुनकर न…

जरा सी बात इतनी भारी हुयी

जरा सी बात इतनी भारी हुयी

जरा सी बात इतनी भारी हुयी   जरा सी बात इतनी भारी हुयी। उम्र भर  की हमें बीमारी हुयी।।   आज जी भर के शायद रोया है, इसी से आंख भारी भारी हुयी।।   फरेबी नश्ल ही रही उसकी, हानि जो भी हुयी हमारी हुयी।।   उसे सुला के ही सो पाता हू़, न जाने…

मेरा और उसका गुमान

मेरा और उसका गुमान

मेरा और उसका गुमान   वो अपने को सरेख समझ,            मुझे पागल समझती रही, अब देख मेरी समझ,            उसके तजुर्बे बदल गए, अब मुझे ज्ञानी समझ ,         अपने को अज्ञानी समझ रही।   कुछ शब्द बोल माइक पर,        अपने को वक्ता समझती रही, अब  मंचों पर देख शब्दों का सिलसिला मेरा,…