पुत्री और शराबी पिता
पुत्री और शराबी पिता पापा मेरी किताब , मेरे अरमान है, मेरी खुशी है, मेरा भविष्य है, सब बेच मेरी खुशियों का शराब पी गए, पापा मां का मंगलसूत्र सुहाग है मांग का सिंदूर है, सब बेच उनके अरमानों का …
पुत्री और शराबी पिता पापा मेरी किताब , मेरे अरमान है, मेरी खुशी है, मेरा भविष्य है, सब बेच मेरी खुशियों का शराब पी गए, पापा मां का मंगलसूत्र सुहाग है मांग का सिंदूर है, सब बेच उनके अरमानों का …
प्यार की लक्ष्मण रेखा ( Pyar ki lakshman rekha) तपती ज्वालाओं के दिन हों या ऋतु राज महीना। मेरे प्यार की लक्ष्मण रेखा पार कभी मत करना। नभ समक्ष हो या भूतल हो, तुम मेरा विश्वास अटल हो, रहे पल्लवित प्रेमवृक्ष यह चाहे पड़े विष पीना।।मेरे.. जब जब फूल लगेंगें खिलने, अंगारे आयेंगे मिलने,…
बुढ़ापा ( Budhapa ) शून्य है शेष जीवन हमारा, एक ब्यक्ती का संसार हूँ मैं। अर्थ वाले जहाँ में निरर्थक, बन गया अब तो बस भार हूँ मैं। हो गये अपनों के अपने अपने, उनके अरमां के घर बस गये हैं। लोग पढ़कर जिसे फेंक देते, बासी अब तो वो अख़बार…
बेटी ( Beti ) सृष्टि की संचरित संवेदनित आधार है बेटी। गृहस्थी है समष्टी है वृहद् संसार है बेटी।। स्वर्ग सा ये घर लगे आने से तेरे। मधुर किलकारी सुनी अति भाग्य मेरे। मूर्ति ममतामयी है सहज है संस्कार है बेटी।। गृहस्थी ० सबको बेटी नियति देती है कहां। बेटी न होगी तो बेटा…
देवों की साज़िश! ( Devon ki saazish ) दिन रात हो रही है बारिश, लगता है देवों ने रची है कोई साजिश! गरीबों के मकान ढ़ह रहे हैं, बारिश की पानी में बह रहे हैं। कमाएं क्या? खाएं क्या? सब यही कह रहे हैं। गांव से लेकर शहर तक हो चुके हैं जलमग्न, ठप…
ये प्यारे प्यारे बच्चे ये तोतली बोल के बच्चे, मन के अनमोल बच्चे, नवतन के प्यारे बच्चे , सुन्दर सलोने बच्चे, कारेनयन के तारे बच्चे, नियति के सच्चे बच्चे, स्वराष्ट्र के रतन बच्चे, पितृ- मातृ के अच्छे बच्चे, इनका खिला चेहरा देख के, शर्मा जाते हैं फूल देखो ये प्यारे- प्यारे बच्चे जाते हैं स्कूल…
इच्छा ( Ichcha ) छोटी बड़ी पवित्र दूषित अधूरी पूरी मृत जीवित दबी तीव्र अल्पकालिक दीर्घकालिक व नाना प्रकार की होती है, सबको होती है। किसी की कम या ज्यादा होती है, किसी की पूरी तो किसी की अधूरी रह जाती है। यह कहां से आती है? जीवन से आती है, जीवनोपरांत समाप्त हो जाती…
मोबाइल फोन ( Mobile phone ) संचार क्रांति का द्योतक सूचनाओं का संसार, घर बैठे करें मनोरंजन और व्यापार । ज्ञान का यह पिटारा, लुटा रहा प्यार इस पर जग सारा। स्क्रीन पर उंगलियां घिसते, नेट स्लो होने पर हैं दांत पीसते। बच्चे व्यस्क या हों बूढ़े, रख हाथों में कुछ ना कुछ ढ़ूंढ़ें। पाकर…
चीख ( Cheekh ) चीरती नीले गगन को हृदय विदारक चीख सी है। ले लिया सब कुछ हमारा देता हमको भीख सी है।। छोड़कर घर द्वार तेरे पास आयी यहां मैं, सगे सम्बन्धी सब छूटे अब बता जाऊं कहां मैं, दो रोटी के बदले देता लम्बी लम्बी सीख सी है।।ले लिया ० …
चुनाव आइल बा ( Chunav aail ba ) आइल चुनाव बा… नेता घुमेलें, भर भर के गड़िया हो.. भर भर के गड़िया! सांझ सबेरे दुपहरिया!! नेता जी, नेता जी आवेले, हमके लुभावेलें। कह कह के बतिया हो, दीहें रोजगार आउर करीहें विकास हो। पूरा हो जाइ अबकी सभन के आस हो, लाचारी भटकी अब कबो#ना…