माना कि तुम

माना कि तुम | Love kavita

  माना कि तुम ( Mana ki tum )     माना कि इन हाथों की लकीरों में तुम नहीं….…….. फिर भी मुझमें तुम शामिल हो, लकीरें तो उनके हाथ में भी नहीं होती जिनके हाथ नहीं होते। तुम मुझे हासिल नहीं फिर भी मुझसे तुम दूर तो नहीं हो। इन हाथों की लकीरों में…

समय चुराएं

समय चुराएं | Poonam singh poetry

 समय चुराएं  ( Samay churaye )   आओ … समय से कुछ समय चुराएं शुन्य के सागर में गुम हो जाएं बीती बातों का हिसाब करें आने वाले पलों का इंतज़ार करें भूली यादों को याद करें बीती चाहतों को ताज़ा करें   कुछ बातें इधर की हों कुछ बातें उधर की हों इधर –…

हे सरकार! कुछ तो करो

हे सरकार ! कुछ तो करो | Political kavita

   हे सरकार ! कुछ तो करो  ( Hey sarkar kuch to karo )   हे सरकार! कुछ तो करो क्यूँ छोड़ दिया मरने को सड़कों और पटरियों पर दर-दर की ठोकरें खाने को खाने को तरसने को। हे सरकार! कुछ तो करो क्या बीत रही है उन गर्भवती और नव माताओं पर सड़कों पर…

हम मजबूर हैं

हम मजबूर हैं | Mazdooron ki vyatha par kavita

 हम मजबूर हैं   ( Hum majboor hai )     साहब! हम मजदूर हैं इसीलिए तो मजबूर हैं सिर पर बोझा रख कर खाली पेट,पानी पीकर हजारों मील घर से दूर गोद में बच्चों को लेकर अनजान राहों पर चलने को।   बेबस हैं हम,लाचार हैं हम आए थे काम की तलाश में पर,इस #Lockdown में न…

मुझे आज भी याद है

मुझे आज भी याद है | Prem ras kavita

 मुझे आज भी याद है  ( Mujhe aaj bhi yaad hai )     मुझे आज भी याद है वो कमरा जहाँ…….. आखिरी बार मिले थे हम आज भी गवाह है, वो बिस्तर की चादर वो कम्बल……. जिसमें लिपटे थे हम एक दूसरे की बाहों में।   मुझे आज भी याद है वो कमरा जहां………..

मदर्स डे

मदर्स डे | Mother’s day kavita

   मदर्स डे  ( Mother’s day kavita )   मां अपने बच्चों से रूठती ही कब है बच्चे भले ही रुठ जाएं पर, मां क्या कभी रूठती है?   #मदर्स डे साहब!आजकल कौन मना रहे हैं? वहीं लोग मना रहे हैं जो अपने घर और माँ से दूर रहते हैं जो कई महीनों, सालों तक उनसे…

मैं चाहता हूं बस तुमसे

मैं चाहता हूं बस तुमसे | Prem kavita in Hindi

   मैं चाहता हूं बस तुमसे ( Main chahta hun bas tumse )   मैं चाहता हूं बस तुमसे थोड़ा सा प्यार थोड़ा-सा मन थोड़ा-सा सुकून थोड़ा-सा अहसास।   मैं तुमसे चाहता हूं बस थोड़ी-सी हँसी थोड़ी-सी खुशी थोड़ी-सी बातें थोड़ी-सी शान्ति।   मैं तुमसे चाहता हूं बस थोड़ा-सा दर्द थोड़ा-सी तकलीफ़ थोड़ी-सी बैचेनी थोड़ी-सी…

तुम्हे रुलाने आया हूँ

तुम्हे रुलाने आया हूँ | Marmik kavita

 तुम्हे रुलाने आया हूँ  ( Tumhe rulane aya hun )   हंसने वालो सुनो जरा तुम तुम्हे रुलाने आया हूँ। अश्कों की बरसातों मे आज तुम्हे नहलाने आया हूँ।। जिसको सुनकर झुम उठो तुम ऐसा न संगीत मेरा। अन्तर्मन तक कांप उठेगा दर्द भरा सुन गीत मेरा।। न चाहिये कोई ताली मुझको न अभिनंदन चाहता…

काश कि तुमने ये बताया होता

काश कि तुमने ये बताया होता | Prem ras kavita

 काश कि तुमने ये बताया होता  ( Kash ki tumne ye bataya hota )   काश कि तुमने ये बताया होता कि मैं क्यों दूर होता जा रहा हूँ तुमसे न कोई गिला-शिकवा फिर भी बातों का सिलसिला शुरू नहीं एक दिन, दो दिन,पाँच दिन,बीस दिन आखिर कब तक? ये तो बताया होता । हौले-हौले…

अपना काम करता चल

किस्मत | Kismat kavita

 किस्मत  ( Kismat )     ->अपना काम करता चल ……..|| 1.लोगों की भलाई कर भूल जा, उस पर फिर विचार ना कर | आगे चलकर जरूर मिलेगा तुझे, उसका इंतजार न कर | तेरा साथ पाने वाला भूल जाए, तो कोई ऐतराज न कर | देख रहा है कोई अद्रश्य रुप से, खुद को…