किताबी ज्ञान | Geet kitabi gyan
किताबी ज्ञान
( Kitabi gyan )
जीवन का अनुभव सच्चा है झूठा है अभिमान
ढाई आखर प्रेम का सच्चा व्यर्थ किताबी ज्ञान
सभ्यता संस्कार जीवन में व्यवहार सिखाते हैं
किताबी ज्ञान के दम पर मानव ठोकरें खाते हैं
हम तूफां से टकराते हैं
माना पुस्तक मार्गदर्शक राह सही दिखलाती है
असल जिंदगी में तो भाई अड़चनें कई आती है
धैर्य शील विनय सारे गुण हमें संघर्षों से आते हैं
लगन हौसलों से हम जीवन में सफलता पाते हैं
हम तूफां से टकराते हैं
किताबी ज्ञान सहायक है जीवन का ज्ञान जरूरी है
कलम कदम पे परीक्षाओं की रखना तैयारी पूरी है
आदर मान सम्मान बड़ों को छोटों को देना दुलार
असहायों की मदद करना वक्त सिखाता व्यवहार
सिर्फ किताबी ज्ञान से हम बस धनसंपदा पाते हैं
जीवन का सुख अनुभव ही मानव को देकर जाते हैं
कवि : रमाकांत सोनी सुदर्शन
नवलगढ़ जिला झुंझुनू
( राजस्थान )
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