Kaun hai Us Paar
Kaun hai Us Paar

कौन है उस पार

( Kaun hai us paar )

 

मांझी थाम रे पतवार मांझी थाम रे पतवार।
लहरें उठती मन रे भीतर कौन है उस पार।
मांझी थाम जरा पतवार

कल कल करती सरिता बहती भावों की रसधार।
जीवन नैया पार लगा दे हमको जाना है उस पार।
दिल की धड़कनें गीत गाए शब्द सुरों की भरमार।
वीणा के तारों को छेड़ रहा जाने कौन है उस पार।
मांझी थाम जरा पतवार

अधरो से सुरीले बोल मीठे शब्दों का है श्रृंगार
नयना ढूंढ रहे हैं किसको वो कौन है उस पार।
चंचल मनवा झूम रहा मन बहती मधुर बयार।
जलधारा की बूंदे मन में छेड़ रही स्वर झंकार।
मांझी थाम जरा पतवार

 

कवि : रमाकांत सोनी

नवलगढ़ जिला झुंझुनू

( राजस्थान )

यह भी पढ़ें :-

सजनी की चतुराई सैया करे सफाई | Sajni ki Chaturai

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here