यह पावन पन्द्रह अगस्त है |15 August par Geet
यह पावन पन्द्रह अगस्त है ( Yah paavan 15 August hai ) वह भारत जिसके माथे पर,जड़े हिम शिखर बनकर तारे ! और सदा से ही सागर ने, आकर जिसके पाॅंव पखारे !!१ जिसके पर्वत देव भूमि हैं, उपवन जैसे हैं जिसके वन शस्य श्यामला जिसकी भूमि, तृप्त करें गंगा के धारे !!२ कपटऔर छल…