चीर हरण (ककहरा)

चीर हरण | Cheer Haran Par Kavita

चीर हरण ( ककहरा ) ( Cheer haran )   कुरुवंश सुवंश में आगि लगी कुरुपति द्युत खेल खेलावत भारी।     खेलने बैठे हैं पांच पती दुर्योधन चाल चलइ ललकारी।     गुरुता गुरु द्रोण की छीन भई संग बैठे पितामह अतिबलकारी।     घर जारत है फुफकारत है शकुनी जस मातुल कुटिल जुवारी…

दिल के घावों को कहां लोग समझ पाते है

दिल के घावों को कहां लोग समझ पाते है | Sad Ghazal Shayari

दिल के घावों को कहां लोग समझ पाते है ( Dil ke ghav ko kahan log samajh pate hai )     दिल के घावों को कहां लोग समझ पाते है। देख के भी नज़र फेर चले जाते हैं।।   जख़्म देते हैं सभी आज ज़माने वाले। और समझे है के मरहम वो लगा जाते…

बच्चों में बढ़ रही है नशे की लत

बच्चों में बढ़ रही है नशे की लत | Nashe Ki Lat Par Kavita

बच्चों में बढ़ रही है नशे की लत! ( Bachon mein badh rahi hai nashe ki lat )    सिर्फ बालीवुड में ही नहीं- देशभर में बढ़ी है नशे की लत, उछाल आया है बड़ी जबरदस्त। सिर्फ रिया,करिश्मा, दीपिका को ही नहीं- बच्चों , किशोरों को भी लगी है इसकी लत, भैया सोचो कितना है…

कशमकश

कशमकश | Kashmakash shayari

कशमकश ( Kashmakash )   फैसला हक मे है मेरे या मेरी हार हुयी है। बस इसी कशमकश में रात फिर बेकार हुयी है।।   सोचते सोचते आंखों में आगये आंसू, फिर वही बात कि बारिश बहुत दमदार हुयी है।।   तमाशा देखने वालों कभी ये सोचा भी, यहां तक पहुंचने में हश्ती ख़ाकसार हुयी…

दोस्त हाले दिल अपना सुनाओ ज़रा

दोस्त हाले दिल अपना सुनाओ ज़रा | Ghazal Haal -E- Dil Apna Sunao

दोस्त हाले दिल अपना सुनाओ ज़रा   ( Dost haal -e- dil apna sunao jara )      दोस्त हाले दिल अपना सुनाओ ज़रा थे कहा तुम गले से लगाओ ज़रा   क्या किया इतने दिन गांव में ही तन्हा और अपनें बारे में बताओ ज़रा   क्या मिलेगा मुझे प्यार में रुलाकर और मुझको न…

पुत्री और शराबी पिता

पुत्री और शराबी पिता

पुत्री और शराबी पिता   पापा मेरी किताब , मेरे अरमान है,  मेरी खुशी है, मेरा भविष्य है,          सब बेच मेरी खुशियों का          शराब पी गए,   पापा मां का मंगलसूत्र सुहाग है मांग का सिंदूर है,      सब बेच उनके अरमानों का      …

जाने हमनी के का हो गइल बा

जाने हमनी के का हो गइल बा | Bhojpuri bhasha mein kavita

जाने हमनी के का हो गइल बा ? ( Jane hamni ke ka ho gail ba ) काम पर वोट ना केहू मांग#ता, ना केहू दे#ता ! काम कइला से ना कोई खुश होता, ना केहू रूस#ता ! केकरा के देबे के बा# ? पहीलहीं से फिक्स बा ! ओहमे कवनो एने ओने ना होखी-…

मुस्कुराते रहे वो बिना बात पर

मुस्कुराते रहे वो बिना बात पर | Ghazal muskurate rahe wo

मुस्कुराते रहे वो बिना बात पर ( Muskurate rahe wo bina baat par )   मुस्कुराते   रहे    वो   बिना   बात पर। दिल पे  छाते   रहे हर  मुलाकात पर।।   तीर    ऐसे   नजर    से   चलाते   रहे। जुल्म   ढाते   रहे  पस्त  हालात  पर।।   है   नज़र  आ  रहे  हर  तरफ वो  हमें। इस तरह छा गये फिर …

प्यार की लक्ष्मण रेखा

प्यार की लक्ष्मण रेखा | Poem pyar ki lakshman rekha

प्यार की लक्ष्मण रेखा ( Pyar ki lakshman rekha)    तपती ज्वालाओं के दिन हों या ऋतु राज महीना। मेरे प्यार की लक्ष्मण रेखा पार कभी मत करना। नभ समक्ष हो या भूतल हो, तुम मेरा विश्वास अटल हो, रहे पल्लवित प्रेमवृक्ष यह चाहे पड़े विष पीना।।मेरे.. जब जब फूल लगेंगें खिलने, अंगारे आयेंगे मिलने,…

अकेला हूँ चले आओ कहां हो

अकेला हूँ चले आओ कहां हो | Akela hoon shayari

अकेला हूँ चले आओ कहां हो ( Akela hoon chale aao kahan ho )     अकेला हूँ चले आओ कहां हो! न यूं ही छोड़कर जाओ कहां हो   रवानी नफ़रतों की ख़त्म होगी मुहब्बत बनके छाओं कहाँ हो   तुम्हारे घर आया मिलनें को कोई न इतने भाव यूं खाओ कहां हो  …