सरस्वती-वंदना

सरस्वती-वंदना

सरस्वती-वंदना ( Saraswati-vandana ) ? वर्षा में … भीगे जंगल को, न अग्नि जला पाएगी। अध्ययन में… डूबे शख्स पर, न दु:ख की आंच आएगी।। तभी निखर पाएगी… “कुमार” तेरी काव्य-कला भी। विद्या-देवी सरस्वती, जब निज कृपा बरसाएगी।। ? कवि व शायर:  मुनीश कुमार “कुमार” (हिंदी लैक्चरर ) GSS School ढाठरथ जींद (हरियाणा) यह भी पढ़ें…

प्यार की सांसों में वो बसा के लाओ

Romantic Ghazal | Love Ghazal -प्यार की सांसों में वो बसा के लाओ

प्यार की सांसों में वो बसा के लाओ ( Pyar Ki  Sanson Mein Wo Basa Ke Lao )     प्यार की सांसों में वो बसा के लाओ! दोस्त फ़ूलों से ख़ुशबू चुरा के लाओ   महके दामन हमेशा जिससें तेरा ये दोस्त कोई ऐसा वो बना के लाओ   दें दग़ा जो कभी भी…

प्रेम अगन

Hindi Poetry On Life | Hindi Poem | Love Kavita -प्रेम अगन

प्रेम अगन ( Prem Agan )   बचना  होगा   प्रेम  अगन से, इसमे  ज्वाला ज्यादा है। सुप्त सा ये दिखता तो है पर,तपन बहुत ही ज्यादा है।   जो भी उलझा इस माया में, वो ना कभी बच पाया है, या तो जल कर खाक हुआ या, दर्द फफोला पाया है।   कोई कुछ भी…

मृत्यु से पहले

Hindi Kavita | Hindi Poem | Hindi Poetry -मृत्यु से पहले

मृत्यु से पहले ( Mrityu Se Pahle ) ***** तेरे कृत्य काल दिखाएगा दिखा दिखा सताएगा तुमको सब बतलाएगा फेहरिस्त कर्मों की सामने लाएगा देखो समझो! किए क्या क्या हो? जीवन में अपने। तोड़े कितनों के सपने तुमने? जब अपने पर पड़ी है, लग रही बहुत बड़ी है! कष्ट अनंत है दर्द असह्य है प्रतिफल…

कष्ट निशा के मन का

Hindi Kavita | Hindi Poem -कष्ट निशा के मन का

कष्ट निशा के मन का ( Kasht Nisha Ke Man Ka )     चंदा तुमसे कहां छुपा है, कष्ट निशा के मन का । चलते चलते छुप जाते हो, करो प्रयास हरन का ।।   एक पत्ती जो हिली हवा से, सिहर सिहर वो उठती। मूर्तरूप लेती कुछ यांदे, लहर क्षोभ की उठती ।।…

तेरी ये तो लफ़्ज़ों की जादूगरी है

Romantic Ghazal | Love Ghazal -तेरी ये तो लफ़्ज़ों की जादूगरी है

तेरी ये तो लफ़्ज़ों की जादूगरी है ( Teri Ye To Lafzon Ki Jadugari Hai )   तेरी  ये  तो  लफ़्ज़ों  की जादूगरी है हो गयी तुझसे सनम ये आशिक़ी है   दूर जब से तू गयी है जानम मुझसे तेरी  यादों में दिन रातें कट रही है   राह में ही इक हंसी चेहरा…

Saboot Kya Doon Main Tumhara Hoon

क्या दूं || Sad Ghazal | Romantic Ghazal -सबूत क्या दूं मैं तुम्हारा हूं

सबूत क्या दूं मैं तुम्हारा हूं ( Saboot Kya Doon Main Tumhara Hoon )      छत न दीवार न सहारा हूं। सबूत क्या दूं मैं तुम्हारा हूं।।   एक की बात हो तो बतलाऊं, हजारों खंजरों का मारा हूं।।   पोछ कर आंसू मुस्करा के कहा बात कुछ भी नहीं बस हारा हूं।  …

शिक्षा

Shiksha Kavita | Shiksha Par Kavita | Poem On Shiksha -शिक्षा

शिक्षा ( Shiksha )   जगत में शिक्षा है आधार। शिक्षा बिना धुंध सा जीवन शिक्षा मुक्ती द्वार।। जगत में० ।। अनपढ़ मूढ़ निरक्षर क्या -क्या शव्द बुलाये जाते, इन  लोगों  से  भेड़  बकरियां  पशु चरवाये जाते, पढ़ें – लिखे मुट्ठी भर लोग तब करते अत्याचार।। जगतमें० ।। शिक्षा बिना न मिले नौकरी दर-दर ठोकर…

बचपन

Kavita On Bachpan | Hindi Kavita | Bachpan Kavita -बचपन

बचपन ( Bachpan ) कितना सुंदर बचपन का जमाना होता था खुशियों का बचपन खजाना होता था । चाहत चांद को पाने की दिल तितली का दीवाना होता था । खबर ना थी सुबह की बस शाम का ठिकाना होता था । थक हार कर स्कूल से जब आते झटपट खेलने भी जाना होता था…

वो गली में ही जो लड़की ख़ूबसूरत है बहुत

Romantic Ghazal | Ghazal -वो गली में ही जो लड़की ख़ूबसूरत है बहुत

वो गली में ही जो लड़की ख़ूबसूरत है बहुत ( Wo Gali Mein Hi Jo Ladki Khoobsurat Hai Bahut )     वो गली में ही  जो लड़की ख़ूबसूरत है बहुत हो गयी उससे मुझे आज़म मुहब्बत है बहुत   फ़ूल देता हूँ मुहब्बत का उसे जब भी मैं तो देखता हर बात में मुझको…