Ghazal ishq hai tum se

नशा जुनून इश्क है तुमसे | Ghazal ishq hai tum se

नशा जुनून इश्क है तुमसे

( Nasha junoon ishq hai tumse )

 

 

नशा जनून इश्क है तुमसे,
जो तू नही तो अब मेरा,यहाँ पे कुछ भी नही।

 

तू ही चाहत है मोहब्बत, मेरे दिल की धडकन,
तू ही सबरंग, कशमकश, तू ही है नूर ए नजर।

 

वफा करार प्यार है तुमसे,
जो तू नही तो अब मेरा,यहाँ पे कुछ भी नही।

 

 

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✍?

कवि :  शेर सिंह हुंकार

देवरिया ( उत्तर प्रदेश )

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