मिली नई जिंदगी | Kavita
मिली नई जिंदगी
( Mili Nayi Zindagi )
( Mili Nayi Zindagi )
लड़की हूँ तो क्या हुआ ( Ladki hun to kya hua ) दुनिया में पीड़ा बहूत है कब तक तु अपने दुखों को गाएगी इस मतलब भरी दुनिया में क्या तु अपने लिए सहारा ढूँढ पाएगी अकेली निकल उजाले की खोज में अंधकार भी पीछे छूट जाएगा। और जहाँ तक बात रही…
शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले शास्त्री ( Shaantachitt vyaktitva wale Shastri ) भारत वर्ष के आप थें दूसरे प्रधानमंत्री, शुभ नाम जिनका लालबहादुर शास्त्री। सादगी पूर्ण, शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले, स्वतंत्रता सेनानी व महान नेता शास्त्री।। 2 अक्टूबर सन् 1904 को आप जन्में, नदी तैरकर पार कर स्कूल जानें वालें। काशी विद्यापीठ से संस्कृत पढ़ने वालें, विषम परिस्थितियों…
घर का बड़ा बेटा आज टांग कर बैग,वह निकल गया कुछ दूर।घर की देख परेशानी,वह कमाने के लिए हुआ मजबूर। कभी था घर का राजा बेटा,आज हुआ वह नालायक।कमा के पैसा जो देता है,कहलाता है वह बेटा लायक। बहन की शादी करनी है,छोटा है अभी भाई।उसका भी अभी पढ़ना है,अब तो कमाना पड़ेगा भाई। बीमारी…
माँ का भय मैंने बेटा जनाप्रसव पीड़ा भूल गयी वह धीरे-धीरे हँसने-रोने लगामैंने स्त्री होना बिसरा दिया उसने तुतली भाषा में माँ कहामैं हवा बनकर बहने लगी वह जवान हुआमैं उसके पैरों तले की मिट्टी वारती फिरूँ उसके सिर सेहरा बंधामुझे याद आयामैं भी एक रोज ब्याहकर आयी थीइसके पिता संग कुछ दिनों बाद मैंने…
ऐ जिंदगी ( Ai zindagi ) ऐ जिंदगी… कुछ देर ठहर जा बैठ जा कुछ कह जा कुछ सुन जा वक्त का तकाज़ा है कभी तू गुम है कभी मैं… हाँफती भागती सी तुझे छूने की होड़ में थकी मांदी सी सुस्ताने के बहाने ढूँढ तलाशती तुझको ही बोझिल कमज़ोर नज़रें मेरी ऐ…
कृष्ण दीवानी ( Krishna diwani ) प्रेम गली में ढूंढ रही, कान्हा तोहे प्रेम दीवानी। प्रेम है मेरा मन मोहन, मोहे मोहे रुप मोहिनी। कटि कारी करधन डारी, चले चाल मतवाली। कटि कमरी पीली बांधो, करधन धूधरू डारौ। पांव पैजनी बाजे छम छम, नाचै और नचावै। कान्हा ढूढे तोहे , तोरी सखी प्रेम दीवानी…
लड़की हूँ तो क्या हुआ ( Ladki hun to kya hua ) दुनिया में पीड़ा बहूत है कब तक तु अपने दुखों को गाएगी इस मतलब भरी दुनिया में क्या तु अपने लिए सहारा ढूँढ पाएगी अकेली निकल उजाले की खोज में अंधकार भी पीछे छूट जाएगा। और जहाँ तक बात रही…
शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले शास्त्री ( Shaantachitt vyaktitva wale Shastri ) भारत वर्ष के आप थें दूसरे प्रधानमंत्री, शुभ नाम जिनका लालबहादुर शास्त्री। सादगी पूर्ण, शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले, स्वतंत्रता सेनानी व महान नेता शास्त्री।। 2 अक्टूबर सन् 1904 को आप जन्में, नदी तैरकर पार कर स्कूल जानें वालें। काशी विद्यापीठ से संस्कृत पढ़ने वालें, विषम परिस्थितियों…
घर का बड़ा बेटा आज टांग कर बैग,वह निकल गया कुछ दूर।घर की देख परेशानी,वह कमाने के लिए हुआ मजबूर। कभी था घर का राजा बेटा,आज हुआ वह नालायक।कमा के पैसा जो देता है,कहलाता है वह बेटा लायक। बहन की शादी करनी है,छोटा है अभी भाई।उसका भी अभी पढ़ना है,अब तो कमाना पड़ेगा भाई। बीमारी…
माँ का भय मैंने बेटा जनाप्रसव पीड़ा भूल गयी वह धीरे-धीरे हँसने-रोने लगामैंने स्त्री होना बिसरा दिया उसने तुतली भाषा में माँ कहामैं हवा बनकर बहने लगी वह जवान हुआमैं उसके पैरों तले की मिट्टी वारती फिरूँ उसके सिर सेहरा बंधामुझे याद आयामैं भी एक रोज ब्याहकर आयी थीइसके पिता संग कुछ दिनों बाद मैंने…
ऐ जिंदगी ( Ai zindagi ) ऐ जिंदगी… कुछ देर ठहर जा बैठ जा कुछ कह जा कुछ सुन जा वक्त का तकाज़ा है कभी तू गुम है कभी मैं… हाँफती भागती सी तुझे छूने की होड़ में थकी मांदी सी सुस्ताने के बहाने ढूँढ तलाशती तुझको ही बोझिल कमज़ोर नज़रें मेरी ऐ…
कृष्ण दीवानी ( Krishna diwani ) प्रेम गली में ढूंढ रही, कान्हा तोहे प्रेम दीवानी। प्रेम है मेरा मन मोहन, मोहे मोहे रुप मोहिनी। कटि कारी करधन डारी, चले चाल मतवाली। कटि कमरी पीली बांधो, करधन धूधरू डारौ। पांव पैजनी बाजे छम छम, नाचै और नचावै। कान्हा ढूढे तोहे , तोरी सखी प्रेम दीवानी…
लड़की हूँ तो क्या हुआ ( Ladki hun to kya hua ) दुनिया में पीड़ा बहूत है कब तक तु अपने दुखों को गाएगी इस मतलब भरी दुनिया में क्या तु अपने लिए सहारा ढूँढ पाएगी अकेली निकल उजाले की खोज में अंधकार भी पीछे छूट जाएगा। और जहाँ तक बात रही…
शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले शास्त्री ( Shaantachitt vyaktitva wale Shastri ) भारत वर्ष के आप थें दूसरे प्रधानमंत्री, शुभ नाम जिनका लालबहादुर शास्त्री। सादगी पूर्ण, शान्तचित्त व्यक्तित्व वाले, स्वतंत्रता सेनानी व महान नेता शास्त्री।। 2 अक्टूबर सन् 1904 को आप जन्में, नदी तैरकर पार कर स्कूल जानें वालें। काशी विद्यापीठ से संस्कृत पढ़ने वालें, विषम परिस्थितियों…
घर का बड़ा बेटा आज टांग कर बैग,वह निकल गया कुछ दूर।घर की देख परेशानी,वह कमाने के लिए हुआ मजबूर। कभी था घर का राजा बेटा,आज हुआ वह नालायक।कमा के पैसा जो देता है,कहलाता है वह बेटा लायक। बहन की शादी करनी है,छोटा है अभी भाई।उसका भी अभी पढ़ना है,अब तो कमाना पड़ेगा भाई। बीमारी…
माँ का भय मैंने बेटा जनाप्रसव पीड़ा भूल गयी वह धीरे-धीरे हँसने-रोने लगामैंने स्त्री होना बिसरा दिया उसने तुतली भाषा में माँ कहामैं हवा बनकर बहने लगी वह जवान हुआमैं उसके पैरों तले की मिट्टी वारती फिरूँ उसके सिर सेहरा बंधामुझे याद आयामैं भी एक रोज ब्याहकर आयी थीइसके पिता संग कुछ दिनों बाद मैंने…
ऐ जिंदगी ( Ai zindagi ) ऐ जिंदगी… कुछ देर ठहर जा बैठ जा कुछ कह जा कुछ सुन जा वक्त का तकाज़ा है कभी तू गुम है कभी मैं… हाँफती भागती सी तुझे छूने की होड़ में थकी मांदी सी सुस्ताने के बहाने ढूँढ तलाशती तुझको ही बोझिल कमज़ोर नज़रें मेरी ऐ…
कृष्ण दीवानी ( Krishna diwani ) प्रेम गली में ढूंढ रही, कान्हा तोहे प्रेम दीवानी। प्रेम है मेरा मन मोहन, मोहे मोहे रुप मोहिनी। कटि कारी करधन डारी, चले चाल मतवाली। कटि कमरी पीली बांधो, करधन धूधरू डारौ। पांव पैजनी बाजे छम छम, नाचै और नचावै। कान्हा ढूढे तोहे , तोरी सखी प्रेम दीवानी…