इस महफिल में न यादों की खुशबू आती है | Kavita
इस महफिल में न यादों की खुशबू आती है ( Is mehfil mein na yaadon ki khushboo aati hai ) ना पुराने इश्क पर चर्चा होती है। ना अब किसी की टांग खींची जाती है। ए मेरे दोस्त लगता है सब जिम्मो तले छोटी सी झपकी लेने चली जाती है। आओ ना यारों फिर…