प्रेम दीवानी!

Hindi Ghazal | Hindi Romantic Poetry -प्रेम दीवानी!

प्रेम दीवानी! ( Prem Deewani ) ***** छलकती आंखों से वो ख्वाब दिखता है, महबूब मेरा बस लाजवाब दिखता है। पहन लिया है चूड़ी बिंदी पायल झुमका, आ जाए बस तो लगाऊं ठुमका! बैठी हूं इंतजार में, दूजा दिखता नहीं संसार में। लम्हा लम्हा वक्त बीत रहा है, जाने कहां अब तक फंसा हुआ है?…

नारी जीवन

Nari jeevan kavita || Hindi Poetry On Life | Hindi Kavita -नारी जीवन

नारी जीवन ( Nari Jeevan )   पिता पति के बीच बंटी है, नारी की यह अमिट कथा। एक ने दिया जीवन है उसको, दूजे ने गतिमान किया।   पिता वो शिक्षक पाठ पढ़ा कर, नौका पर कर दिया सवार। पति वो मांझी साथ बिठाकर, जीवन नदी करा दी पार।।   कठिन डगर कांटे चुभते…

कल्पना

Romantic Poetry In Hindi | Hindi Kavita -कल्पना

कल्पना (Kalpana )   नमक है पोर पोर में सुन्दर बडी कहानी तेरी। सम्हालोगी कैसे  सूरज  सी गर्म जवानी तेरी।   भँवर बन कर हुंकार डोलता है तेरे तन मन पे। हृदय के कोने में अब भी है वही निशानी तेरी।   रूप  तेरा ऐसा की देख, सभी का यौवन मचले। कुँवारो का  दिल जैसे …

गलतफहमी

Hindi Kavita | Hindi Poetry -गलतफहमी!

गलतफहमी! ( Galatfahmi ) ***** वो समझते हैं समझते नहीं होंगे लोग। वो उलझते हैं पर उलझते नहीं हैं लोग। वो सुलगाते हैं पर सुलगते नहीं हैं लोग। उम्र कद कर्म अनुभव संस्कार की कमी, लहजे से ही दिख जाता है, हर कहीं। कुछ ज्यादा ही उछलते है वो, आका के संरक्षण में पलते हैं…

चंद बुलबुले जो देखते हो पानी में तुम

Hindi Ghazal -चंद बुलबुले जो देखते हो पानी में तुम

चंद बुलबुले जो देखते हो पानी में तुम   ( Chand Bulbule Jo Dekhte Ho Pani Mein Tum )   दो घडी रुककर घाव सहलाने लगे हम यूँ भी दर्द अपना भुलाने लगे तुम जो राहो में मेरी बिछाते हो शूल दामन फूलो से तुम्हारा महकाने लगे   किस्मत में था इन्तेजार वही मैं करती…

मुसाफिर

Hindi Kavita On Life | Hindi Kavita -मुसाफिर

मुसाफिर ( Musafir ) … मुसाफिर तंन्हा हूँ मै, साथ चलोगे क्या, तुम  मेेरे। है मंजिल दूर, सफर मुश्किल , क्या साथ चलोगे मेरे। यही है डगर, एक मंजिल है तो फिर, साथ चलो ना, सफर कट जायेगा दोनो का, हमसफर बनोगे मेरे। … करेगे दुख सुख की बातें, बातों से खनक बढेगी। हमारे दिल…

मैने पाया  बहुत, मैने  खोया बहुत। जिन्दगी तेरे दर , मैने  रोया  बहुत। ख्वाब मैने बुना,जो हुआ सच मगर। वो मुकम्मिल नही, मैने ढोया बहुत।

Sad Hindi Poem -बीते लम्हें

बीते लम्हें ( Beete Lamhen Kavita )      मैने पाया  बहुत, मैने  खोया बहुत। जिन्दगी तेरे दर , मैने  रोया  बहुत।   ख्वाब मैने बुना, जो हुआ सच मगर। वो मुकम्मिल नही, मैने ढोया बहुत।   शेर से बन गया, लो मै हुंकार अब। सब समझते रहे, मै हूँ  बेकार अब।   मै  सींचा …

कैसे-कैसे लोग
|

Hindi Kavita By Binod Begana -कैसे-कैसे लोग

कैसे-कैसे लोग ( Kaise-Kaise Log )     अक्ल के कितने अंधे लोग। करते क्या-क्या धंधे लोग।   मासूमों के खून से खेले, काम भी करते गंदे लोग।   रौब जमा के अबलाओं पर, बनते हैं मुस्तंडे लोग।   तन सुंदर कपड़ों से ढकते, मन से लेकिन नंगे लोग।   अपनाते दौलत की खातिर, बुरे-बुरे …

बावरा मन

Romantic Poetry In Hindi -बावरा मन

बावरा मन ( Bawara Man )     बावरा   मन   मेरा,  हर  पल  ढूंढे   तुमको। नैना द्वारे को  निहारे, एकटक देखे  तुमको।   प्रीत  कहते  है  इसे, या  कि कोई रोग है ये। जो  झलकता तो नही, दर्द  का संयोग है ये।   कहना चाहूं कह न पाऊं, ऐसा  मनरोग है ये। झांझरी सा मन…

नर से धीर है नारी

Hindi Kavita On Women -नारी

नारी ( Nari Kavita )   नर से धीर है नारी … घर में दबी बेचारी , कभी बेटी कभी बहू बने , कभी सास बन खूब तने, एक ही जीवन कितने रूप , धन्य भाग्य तुम्हारी नर से धीर है नारी… कभी यह घर अपना , कभी वह घर अपना जिस घर जाए वहीं…