आर या पार | हास्य कविता

आर या पार ( Aar ya paar )   बीवी का जन्मदिन था यार, मेरे लिए था बड़ा त्यौहार। लेकिन जन्मदिन इस बार , लाया संग मुसीबत अपार। देना था मुझे...

पर्व पर गर्व | Kavita Parv par Garv

पर्व पर गर्व  ( Parv par Garv )   भले जली होलिका आज भी जल रही है जिंदा है आज भी हिरण कश्यप रावण आज भी जिंदा है बच गया हो...

डॉ.भीमराव अम्बेडकर जयंती

डॉ.भीमराव अम्बेडकर जयंती ( 2 ) चौदह अप्रेल अम्बेडकर जयंती है जशन मनायें संविधान निर्माता की जयंती है जशन मनायेंअभावों में जीवन बसर कर आगे बढ़े पग...

मोबाईल की महिमा | Kavita Mobile ki Mahima

मोबाईल की महिमा ( Mobile ki Mahima )   कितना प्यारा है कितना न्यारा है सबके आंखों का तारा है तू! क्या बच्चे क्या व्यस्क क्या बालायें क्या बूढे उंगलियां उनके नीचे सदा दिन-रात घनघनाती बच्चे गेम्स में व्यस्क...

त्राहिमाम | Kavita Trahimam

त्राहिमाम ( Trahimam )   प्रकृति विकृति समाया चलो इसे उबारें उमस गहन छाया चलो आंधियां लाएं सन्नाटा सघन पसरा चलो चुप्पिया॔ तोड़ें चित्कारें चरम छूती चलो चैतन्य पुकारें प्रचंड प्रलय आया चलो गीत-मीत गाएं बेसुध...

हवाई महल | Kavita Hawai Mahal

हवाई महल ( Hawai Mahal )   पानी मे लकीर बनती नही घड़े पर पानी ठहरता नहीं भरी हो नींद, खुली आँखों में जिनकी उनके आगे से कोई गुजरता...

ये सारे सतरंगी रंग | Kavita Ye Sare Satrangi Rang

ये सारे सतरंगी रंग ( Ye Sare Satrangi Rang )   खुशी में डूबे रंग खिलखिला रहे हैं, इतने सारे सतरंगी रंग, कि पुष्प भी चुरा रहे है...

रमाकांत सोनी की कविताएं | Ramakant Soni Hindi Poetry

पांच साल बाद रौनक आए आज गली में मेरे जब हाथ जोड़ते नेता। श्वेत वस्त्र छवि मनमोहक पूरे लगते अभिनेता। मैं प्रत्याशी खड़ा हुआ हूं वोट अमूल्य...

चरण स्पर्श क्यों | Kavita Charan Sparsh

चरण स्पर्श क्यों ( Charan Sparsh )   एक हि अग्निपिंड से है बना ब्रम्हांड होता रहता इनमे अखंड नाद रहती इक दूजे मे ऊर्जा सदा प्रवाहित करती आदान...

हे हंसवाहिनी,ऐसा वर दे | Hey Hans Vahini

हे हंसवाहिनी,ऐसा वर दे ( Hey hans vahini aisa var do )   मृदुल मधुर ह्रदय तरंग, स्वर श्रृंगार अनुपम । विमल वाणी ओज गायन, ज्योतिर्मय अन्तरतम । गुंजित कर मधुमय...